प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) के तहत 68.5 लाख से ज्यादा घरों को मंजूरी, निर्माण एवं इससे जु़ड़े क्षेत्रों में रोजगार की बढ़ी संभावनाएं
आवास और शहरी कार्य मंत्रालय ने शहरी क्षेत्रों में प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत 68.5 लाख घरों के निर्माण को मंजूरी देने सहित कई और पहलों के जरिये विश्व के सबसे महत्वाकांक्षी कार्यक्रमों में से एक भारतीय शहरों की कायाकल्प और बदलाव के लिए शहरी पुनरूद्धार कार्यक्रम की शुरूआत की है।
प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी- पीएमएवाई(यू)- सबके लिए घर (एचएफए)
प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) 2022 तक सबको घर उपलब्ध कराने का एक मिशन है, जिसे जून, 2015 से लागू किया गया है। इसके तहत शहरी स्थानीय निकायों और इसे लागू करने वाली अन्य एजेंसियों को राज्यों/केन्द्र शासित प्रदेशों के जरिये केन्द्रीय मदद दी जाती है। इसमें झुग्गी-झोपड़ियों में रहने वाले लोगों का पुनर्वास किया जाता है।
प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) पर कुल 3,56,397 करोड़ रुपये का निवेश किया गया है। केन्द्र द्वारा मंजूर 1,00,275 करोड़ रुपये में से 33,455 करोड़ रुपये 10 दिसम्बर, 2018 तक राज्यों/केन्द्र शासित प्रदेशों को जारी कर दिये गये हैं। आवास ऋणों पर 6943.95 करोड़ रुपये की ब्याज सब्सिडी सीएलएसएस (क्रेडिट लिंक्ड सब्सिडी स्कीम) के तहत 3,14,703 लाभार्थियों को सीधे क्रेडिट की गई।
Figures for 2018-19 are as on 10.12.2018
मिशन के तहत अब तक 68.5 लाख से अधिक घरों को फंडिंग के लिए मंजूरी दी गई है। 35.67 लाख घरों के निर्माण की शुरूआत कर दी गई हैं, जिसमें से 12.45 लाख घरों का निर्माण कार्य पूरा हो चुका हैं। मंत्रालय को उम्मीद है कि राज्य/केन्द्र शासित प्रदेश शीघ्र ही परियोजना प्रस्ताव जमा करा देंगे। इससे 2020 से पहले एक करोड़ घरों की मांग का कार्य पूरा करने का रास्ता साफ होगा, तभी 2022 तक सबके लिए घर के लक्ष्य को हासिल किया जा सके।
मंजूर किये गये घरों का निर्माण कार्य तेजी से पूरा करने के लिए मंत्रालय ने 24 नई प्रौद्योगिकियों की पहचान की है। इसके अलावा मंत्रालय वैश्विक आवास प्रौद्योगिकी चुनौती (जीएचटीसी) का आयोजन कर रहा है, ताकि आवास निर्माण में तेजी लाने के बाद अन्तर्राष्ट्रीय स्तर की गति हासिल की जा सके।
प्रधानमंत्री आवास योजना (शहरी) के क्रियान्वयन में तेजी लाने के लिए विभिन्न चरणों में अतिरिक्त बजट संसाधन (ईबीआर) जुटाने के लिए 60,000 करोड़ रुपये का एक राष्ट्रीय शहरी आवास फंड गठित किया गया है। वर्ष 2017-18 में इस फंड में 8,000 करोड़ रुपये जमा किये गये।
वर्ष 2018-19 के आम बजट में वित्तमंत्री की घोषणा के तहत राष्ट्रीय आवास बैंक में किफायती आवास फंड की स्थापना की गई। इसका उद्देश्य लक्षित समूहों को अपना घर खरीदने में उनकी क्षमता में सुधार करना है।
आवास क्षेत्र में 3.6 लाख करोड़ रुपये के भारी निवेश से निर्माण एवं इससे जुड़े क्षेत्रों में रोजगार की नई संभावनाएं बढ़ेंगी और इससे अर्थव्यवस्था में सुधार होगा।
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